खामोशीकी आवाज
क्या खामोशीकी आवाज सुनी है?
दिल की आवाज सुनी हैै, दिलकी धडकन सुनी है पर खामोशी
की आवाज दिल चीर देती है.
अकेले कई पल गुजरते हैं तो खबर
ही नही पडती के कब, अपने
आपसे बातें शुरू हुईं.
चुप रहनेकी आदतसी हो रही है, अब तो बातेंकरतेही जुबान थक
जाती है.
एक दौर था, बातें करते-बनाते जुबान मजे
लेती थी पर अब….
अकेलेमे साया ही साथ होता है यह
अब समझ रहा है.
कभी खुदसे तो कभी सायेसे बातें
होतीं हैं, वक्त
गुजर जाता है.
दोस्तोंके सहारे हंसलेता हूं
वरना गुंगा हो जाऊं.